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PM Kisan: पीएम किसान सम्मान निधि योजना में हुआ बड़ा बदलाव, अब पति-पत्नी को मिलेंगे 12,000 रुपये!

 
PM Kisan: पीएम किसान सम्मान निधि योजना में हुआ बड़ा बदलाव, अब पति-पत्नी को मिलेंगे 12,000 रुपये!

नई दिल्लीः केंद्र की मोदी सरकार द्वारा चलाई जा रही पीएम किसान सम्मान निधि योजना इन दिनों लोगों के लिए संजीवनी साबित हो रही है। सरकार इस योजना के तहत सालाना 2,000 रुपये की तीन किस्तों में 6,000 रुपये डालती है, जिसका मकसद किसानों आर्थिक रूप से मजबूत करना है।

योजना के नियमानुसार पति-पत्नी को एक साथ किस्त का लाभ नहीं मिलता है, लेकिन अब दोनों की मौज आने जा रही है। अब नियमों में बात कही जा रही है कि पति-पत्नी दोनों को किस्त का लाभ मिलेगा।

अगर ऐसा होता है कि पत्नी-पत्नी को 6-6 हजार के हिसाब से सालाना 12,000 रुपये इस योजना के तहत मिलेंगे। ऐसी कोई भी पुष्टि सरकार ने आधिकारिक तौर पर तो नहीं की है, लेकिन तमाम मीडिया की खबरों में यह बड़ा दावा किया जा रहा है।

इन्हें मिलता है योजना का लाभ

केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए नियमों के अनुसार पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ लेने के लिए पात्रता जानना जरूरी है। कृषि कार्य में न कर दूसरे कामों में कर रहे हैं या दूसरों के खेतों पर किसानी का काम तो करते हैं, और खेत उनका नहीं हैं। ऐसे किसान भी इस योजना का फायदा लेने के लिए पात्र नहीं माने जाएंगे।

अगर कोई किसान खेती कर रहा है, लेकिन खेत उसके नाम नहीं होकर उसके पिता या दादा के नाम है तो उन्हें भी इस योजना का फायदा नहीं दिया जाएगा। इस योजना का लाभ केवल लघु-सीमांत किासनों को ही मिलेगा, अगर कोई इन नियमों का पालन नहीं कर रहा तो रिकवरी की जाएगी।

वहीं, अगर कोई खेती की जमीन का मालिक है, लेकिन वह सरकारी कर्मचारी है या रिटायर हो चुका हो, मौजूदा या पूर्व सांसद, विधायक, मंत्री है तो ऐसे लोगों को योजना का फायदा नहीं दिया जाएगा। अपात्रों की लिस्ट में प्रोफेशनल रजिस्टर्ड डॉक्टर, इंजिनियर, वकील, चार्टर्ड अकाउंटेंट या इनके परिवार वाले भी आते हैं।

अब तक अकाउंट में आ चुकी हैं इतनी किस्तें

पीएम किसान सम्मान निधि योजना की अब तक 2,000 रुपये की 11 किस्तें अकाउंट में डाली जा चुकी हैं। इस योजना का लाभ करीब 12 करोड़ से ज्यादा किसान ले रहे हैं। अब सभी पात्र किसानों को 12वीं किस्त का बड़ी ही बेसब्री से इंतजार है, जो जल्द ही खत्म होने जा रहा है। इस योजना को शुरू करने का सरकार का मकसद किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत बनाना है, जिससे वह अपनी खेती-बाड़ी की खुद ही देखभाल कर सके।